24वें राष्ट्रीय वनवासी क्रीड़ा प्रतियोगिता का आयोजन 27 से 31 दिसंबर तक


रायपुर। वनवासी कल्याण आश्रम द्वारा राजधानी रायपुर में 24वें राष्ट्रीय वनवासी क्रीड़ा प्रतियोगिता का आयोजन किया जाएगा। यह पांच दिवसीय प्रतियोगिता 27 से 31 दिसंबर तक आयोजित होगी। जिसमें तीरंदाजी एवं फुटबॉल के लगभग 800 प्रतिभागी भाग लेंगे। शबरी आश्रम परिसर रायपुर में आयोजित बैठक में प्रतियोगिता के तैयारी एवं विभिन्न कार्यक्रमों के लिए स्वागत समिति का गठन किया गया।

वनवासी विकास समिति छत्तीसगढ़ के प्रांतीय सचिव अनुराग जैन ने इस कार्यक्रम के बारे में प्रारंभिक जानकारी दी, तत्पश्चात स्वागत समिति का गठन किया गया जिसमें सभी क्षेत्र (चिकित्सा, शिक्षा, व्यवसाय, समाज) के सेवाभावी, गणमान्य व्यक्तियों के नाम सामने आए जिनमें से वन मंत्री केदार कश्यप, विधायकश्री राजेश मूणत विधायक, पूर्व विधायक सत्यनारायण शर्मा, एनआईटी रायपुर के संचालक प्रो.रमन्ना राव, आईआईटी भिलाई के डायरेक्टर राजीव प्रकाश, पंडित रविशंकर शुक्ल विश्वविद्यालय के कुलपति सच्चिदानंद शुक्ल, चेम्बर ऑफ कॉमर्स के अध्यक्ष अमर परवानी समाजसेवी वसंत अग्रवाल, व्यवसायी सरल मोदी, राम मंदिर ट्रस्ट के ब्रज लाल गोयल, पार्षद अमर बंसल, डॉ आनंद जोशी, आदि के नाम प्रमुख हैं। सर्वसम्मति से केदार कश्यप को इस समिति का अध्यक्ष और अमर बंसल को सचिव बनाया गया।

कार्यक्रम की शुरुआत श्रीमती कौशल्या विष्णु देव साय और शबरी कन्या आश्रम की बहनों द्वारा संध्या आरती के साथ हुई। श्रीमती कौशल्या विष्णु देव साय ने अपने उद्बोधन में कहा कि चूकी इस प्रतियोगिता के लिए पूरे भारतवर्ष से जनजाति क्षेत्र के प्रतिभागी भाग लेंगे अतः हम सबका एक कर्तव्य और दायित्व है कि उनके लिए यह प्रतियोगिता यादगार साबित हो, इसका प्रयास करना चाहिए। समिति के अध्यक्ष वन मंत्री केदार कश्यप ने भी आश्वस्त किया कि हम सबके सहयोग से यह प्रतियोगिता सभी के लिए यादगार होगी।     
इस अवसर पर वनवासी कल्याण आश्रम के अखिल भारतीय संगठन मंत्री श्री भगवान सहाय ने कल्याण आश्रम द्वारा किए जाने वाले कार्यक्रम की जानकारी दी। उन्होंने अखिल भारतीय स्तर पर वनवासी समिति के बालक और बालिकाओं का राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर प्रतिनिधित्व पर भी चर्चा की। उन्होंने बताया कि लगभग दो लाख छात्र-छात्राएं प्रतिवर्ष प्रारंभिक स्तर पर खेलकूद की प्रतियोगिताओं में जनजाति क्षेत्र से भाग लेते हैं।

वनवासी विकास समिति छत्तीसगढ़ के प्रांतीय सचिव श्री अनुराग जैन ने बताया कि जनजाति समाज के विकास के लिए 1952 में जशपुर से शुरू हुई यह यात्रा निरंतर जारी है और पूरे देश में वनवासी कल्याण आश्रम द्वारा बालक-बालिकाओं के लिए छात्रावास एवं उनके सर्वांगीण विकास के लिए विभिन्न प्रकार के प्रोजेक्ट चल रहे हैं। जिनमें जनजाति समाज के दूरस्थ वनांचल क्षेत्र के लाखों बालक एवं बालिकाएं जिन्हें वह सुविधा प्राप्त नहीं हो पाती जिसके अभाव में वह अपनी प्रतिभा नहीं दिखा पाते। इन्हीं उद्देश्यों को लेकर वनवासी विकास समिति काम करती है।

कार्यक्रम का संचालन वनवासी विकास समिति रायपुर के सचिव श्री राजीव शर्मा ने किया। इस अवसर पर वनवासी विकास समिति छत्तीसगढ़ के प्रांत अध्यक्ष श्री उमेश कच्छप, छत्तीसगढ़ प्रांत संगठन मंत्री श्री रामनाथ कश्यप, मध्य क्षेत्र संगठन मंत्री प्रवीण ढोकले, सुभाष बड़ोले, नागेश काले, श्रीमती माधवी जोशी, रवि गोयल, डॉ. विजय शांडिल्य, डॉ. आशुतोष शांडिल्य, श्रीमती संगीता चौबे, डॉ. विजय चौबे, डॉ. मीना मुर्मू, तिसेन भगत आदि उपस्थित थे।