CG Politics: सांसदी छुड़वाकर लड़वाया था विधानसभा चुनाव, फिर उन्हीं पर दाँव खेलेगी भाजपा!


रायपुर ( न्यूज़)। भारतीय जनता पार्टी ने जिन सांसदों को विधानसभा चुनाव मैदान में उतारा था, उन्हें लोकसभा के मैदान में फिर से उतारने की तैयारी है। हालिया सम्पन्न विधानसभा चुनाव में पार्टी ने कुल 4 सांसदों को विधायकी चुनाव लड़वाया। इनमें सरगुजा से रेणुका सिंह, रायगढ़ से गोमती साय, दुर्ग से विजय बघेल व बिलासपुर से सांसद अरुण साव शामिल थे। विजय बघेल के अलावा बाकी तीनों सांसद विधानसभा का चुनाव जीतने में कामयाब रहे। हालांकि विजय बघेल ने तत्कालीन मुख्यमंत्री के खिलाफ चुनाव लड़ा और कड़ी टक्कर भी दी थी। मंत्रिमंडल गठन के बाद सांसद से विधायक बनने वाले कतिपय नेताओं में मंत्री नहीं बनाए जाने को लेकर नाराजगी भी दिखी। खासतौर पर भरतपुर-सोनहत से विधायक निर्वाचित हुईं रेणुका सिंह की नाराजगी किसी से छिप नहीं पाई। खबर है कि अब पार्टी आलाकमान ऐसे विधायकों को फिर से सांसद चुनाव लड़वा सकती है। इनमें से गोमती साय और रेणुका सिंह के नाम करीब-करीब तय बताए जा रहे हैं। वहीं, विजय बघेल के नाम पर संशय है। अरुण साव क्योंकि उपमुख्यमंत्री समेत कई महत्वपूर्ण विभागों की जिम्मेदारी संभाल रहे हैं, इसलिए उनकी जगह नए चेहरे पर विचार किया जा रहा है।

लोकसभा चुनाव को लेकर राजनीतिक दल जोर-शोर से तैयारी में जुट गए हैं। लोकसभा के चुनावी मैदान में किसे उतारना है उसे लेकर चिंतन और मंथन लगातार किया जा रहा है। इस बीच भाजपा में इस बात की चर्चा हो रही है कि जिस तरह से विधानसभा चुनाव में चार सांसदों को मैदान में उतारा गया था। उसी तर्ज पर भाजपा लोकसभा चुनाव में कुछ विधायकों पर दांव खेल सकती है। जानकारी के अनुसार प्रदेश के भाजपा विधायकों का इस बात को लेकर मानना है कि पार्टी लोकसभा चुनाव के लिए जो भी आदेश करेगी वह मान्य होगा। यानी कि भाजपा से जिस विधायक को टिकट मिलेगा वह चुनाव लडऩे को तैयार है। छत्तीसगढ़ के प्रदेश प्रभारी ओम माथुर लगातार पूरे प्रदेशभर में दौरा कर रहे हैं। लोकसभा की सभी 11 सीटों पर प्रभारी और सह प्रभारी प्रदेश के नेताओं के साथ चर्चा कर नामों पर राय मशवरा भी करना शुरु कर दिए हैं। लोकसभा चुनाव को लेकर यह साफ माना जा रहा है कि लोकसभा के चुनाव में वही चेहरे मैदान होगें जहां जिस तरह से समीकरण फिट बैठेंगे।

अजय, अमर, मूणत के नाम की चर्चा
विधायकों को चुनावी मैदान में उतारने की चर्चा के साथ ही पुराने चेहरे यानी जो प्रदेश में सीनियर नेता हैं उन्हें मैदान में लाने की तैयारी चल रही है। लेकिन किसी भी लोकसभा में यह बात खुलकर सामने नहीं नहीं आ रही है कि यहां से कोई विधायक होगा या फिर नया चेहरा। फिर भी कुछ नामों पर चर्चा खूब हो रही है जिनमें बिलासपुर से विधायक पूर्व मंत्री अमर अग्रवाल, महासमुंद से अजय चंद्राकर,रायगढ़ से गोमती साय, रायपुर से राजेश मूणत, सरगुजा से रेणुका सिंह पर दांव खेल सकती है। प्रदेश में भाजपा की तरफ से लोकसभा चुनाव को लेकर जिन-जिन नामों पर चर्चा हो रही है। उनकी बात करें तो उनका साफ मानना है कि पार्टी अगर लोकसभा चुनाव लडऩे का फैसला लेगी तो वह मैदान में पूरी ताकत के साथ उतरेंगे। लेकिन किसी भी नेता यह बिल्कुल नहीं कहा कि वह चुनाव लडऩा चाहता है या फिर नहीं। क्योंकि यह वो चेहरे हैं जो पिछली भाजपा सरकार में मंत्री रहे हैं। लेकिन वर्तमान में यह सिर्फ विधायक हैं। ऐसे में यह माना जा रहा है कि अगर इनमें से किसी चेहरे को लोकसभा चुनाव में उतारा जाता है अगर यह जीते और भाजपा की सरकार केंद्र में बनी तो यह प्रदेश के नेतृत्व करने के कारण इन्हें बड़ी जिम्मेदारी भी मिल सकती है।

केन्द्रीय चुनाव कार्यालय का शुभारम्भ
छत्तीसगढ़ में विधानसभा चुनाव के बाद अब सत्ताधारी पार्टी बीजेपी लोकसभा चुनाव की तैयारियों में जुट गई है। लगातार भारतीय जनता पार्टी बैठकें कर क्षेत्र की मौजूदा स्थिति को जानने और परखने की कोशिश में लगी हुई है। इसी बीच भाजपा ने आज तीन लोकसभा क्षेत्रों में चुनाव कार्यालय का शुभारंभ कर दिया। सीएम विष्णुदेव साय ने रायपुर में तो डिप्टी सीएम अरुण साव ने महासमुंद और विजय शर्मा ने दुर्ग में लोकसभा चुनाव के लिए केंद्रीय कार्यालय का शुभारंभ किया। इन कार्यालयों से आज से ही लोकसभा चुनाव की गतिविधियां संचालित होगी। गौरतलब है कि भाजपा लोकसभा चुनाव के लिए जातिगत समीकरण, क्षेत्रवार स्थिति, प्रत्याशी की छवि जैसी तमाम जानकारियां जुटा रही है। कहा जा रहा है कि भाजपा लोकसभा चुनाव में विधानसभा चुनाव की तरह नए चेहरे और युवाओं को ज्यादा से ज्यादा मौका दे सकती है। वहीं कुछ जगहों पर पुराने चेहरे भी मैदान में वापसी कर सकतें हैं।

बीजेपी अपनाएगी मूल मंत्र
भाजपा ने कार्यकर्ताओं को जनता के बीच भेजने की रणनीति तैयार की है। इसके तहत कार्यकर्ता जनता के बीच पहुंचकर केंद्र सरकार की योजनाओं को गिनाएंगे। वे सबका साथ सबका विकास सबका विश्वास, जैसे मूल मंत्र के साथ काम करेंगे। रायपुर लोकसभा के प्रभारी संदीप शर्मा के मुताबिक, आगामी लोकसभा चुनाव में हमारा लक्ष्य गत चुनाव और भाजपा प्रत्याशियों के प्राप्त किए मत से अधिक मत दिलवाना है। आपको बता दें कि अबकी बार भाजपा ने कार्यकर्ताओं को 400 मतों का लक्ष्य दिया है। इसके साथ ही कार्यकर्ताओ में मेल मिलाप के साथ ही आपसी सामंजस्य की भी आवश्यक है। इस बात को ध्यान में रखकर ही प्रत्याशी की घोषणा से पहले ही लोकसभा चुनाव केंद्रीय कार्यालय का उद्घाटन किया गया है। कार्यकर्ताओं को चेहरे की बजाए कमल के निशान को प्रत्याशी मानने को भी कहा गया है। वैसे, विधानसभा चुनाव में जीत और प्रदेश में सरकार बनने के बाद भाजपा कार्यकर्ताओं का उत्साह चरम पर है।